RCB पर टूटा भगदड़ का कहर: कर्नाटक सरकार ने विराट कोहली के वीडियो को बताया ट्रिगर!

Bengaluru Stampede Report: बेंगलुरु में IPL 2024 की जीत के बाद हुए Victory Celebration के दौरान मची भगदड़ के मामले में कर्नाटक सरकार ने बड़ा कदम उठाते हुए RCB (Royal Challengers Bangalore) और आयोजकों को जिम्मेदार ठहराया है। सरकार द्वारा जारी Status Report में यह भी कहा गया कि इस घटना में क्रिकेटर Virat Kohli के एक वीडियो क्लिप ने भीड़ को आकर्षित करने में अहम भूमिका निभाई।

4 जून को हुआ था हादसा, 11 की मौत, 50 से ज्यादा घायल

4 जून को RCB की जीत के बाद जब Victory Parade का आयोजन किया गया, तो अचानक भीड़ बेकाबू हो गई और Stampede की स्थिति बन गई। इस हादसे में 11 लोगों की जान चली गई, जबकि 50 से ज्यादा लोग घायल हो गए।

बिना अनुमति के हुआ आयोजन, पुलिस से नहीं ली गई मंजूरी
सरकारी रिपोर्ट में दावा किया गया है कि DNA Entertainment Networks Pvt. Ltd., जो इस इवेंट का आयोजन कर रही थी, उन्होंने पुलिस को केवल 3 जून को Parade की सूचना दी थी लेकिन Formal Permission नहीं ली। रिपोर्ट में कहा गया है कि इस तरह के आयोजनों के लिए कम-से-कम 7 दिन पहले अनुमति लेना जरूरी होता है, जो इस केस में नहीं हुआ।

सोशल मीडिया पोस्ट से मची भगदड़

रिपोर्ट में बताया गया कि 4 जून को सुबह 7:01 बजे RCB ने एक Social Media पोस्ट के जरिए “Free Entry for Public” की घोषणा की। पोस्ट में लोगों को विधानसभा से शुरू होने वाले विजय जुलूस में शामिल होने का आमंत्रण दिया गया।

इसके कुछ समय बाद, सुबह 8:55 बजे, RCB ने एक वीडियो क्लिप पोस्ट की, जिसमें Virat Kohli ने फैंस को बुलाते हुए कहा कि टीम बेंगलुरु की जनता के साथ जश्न मनाना चाहती है। इस वीडियो के बाद Crowd Management पूरी तरह फेल हो गया और करीब 3 लाख से ज्यादा लोग जुट गए।

पास की घोषणा ने और बढ़ाई अफरातफरी

स्थिति तब और बिगड़ी जब दोपहर 3:14 बजे आयोजकों ने घोषणा की कि Entry Pass के बिना Chinnaswamy Stadium में प्रवेश नहीं मिलेगा। इससे जनता में panic फैल गया और भगदड़ की स्थिति बन गई।

रिपोर्ट में RCB, DNA और KSCA की कोऑर्डिनेशन पर सवाल

रिपोर्ट में कहा गया है कि RCB, DNA Entertainment और Karnataka State Cricket Association (KSCA) के बीच किसी भी तरह का उचित coordination नहीं था। Entry Gate Planning खराब थी और गेट देर से खोले गए, जिससे लोगों की भीड़ एकत्र हो गई और हादसा हो गया।

High Court ने मांगी थी रिपोर्ट की कॉपी

Karnataka High Court ने सरकार को आदेश दिया था कि वह 4 जून को हुई इस भगदड़ की रिपोर्ट सार्वजनिक करे। हालांकि सरकार ने इस रिपोर्ट को गोपनीय रखने का अनुरोध किया था, लेकिन कोर्ट ने 14 जुलाई को साफ कह दिया कि गोपनीयता का कोई कानूनी आधार नहीं है।