Pilibhit Tiger Attack: न्यूरिया में फिर बाघों का कहर, महिला की मौत और दो घायल

Pilibhit News Today: उत्तर प्रदेश के पीलीभीत जिले के न्यूरिया क्षेत्र में बाघों का आतंक थमने का नाम नहीं ले रहा। Tiger Attack in Pilibhit की यह ताजा घटना गुरुवार सुबह सामने आई, जब महज दो घंटे में बाघ ने तीन ग्रामीणों पर हमला कर दिया। इनमें Mandaria Village की 50 वर्षीय तृष्णा की मौत हो गई, जबकि दो अन्य गंभीर रूप से घायल हुए हैं।

 खेत पर गई महिला को बाघ ने बनाया निशाना

सुबह के समय तृष्णा खेत पर गई थीं, तभी एक बाघ ने झाड़ियों से निकलकर उन पर हमला किया और खेत में ही घसीटते हुए मार डाला। यह हमला Tiger Human Conflict in UP की एक और भयानक तस्वीर बन गया। इससे 15 मिनट पहले मंडरिया गांव के ही किशोर नीलेश पर भी बाघ ने हमला किया था, लेकिन वह ग्रामीणों के शोर मचाने पर किसी तरह बच निकला।

 सहजनिया गांव में दूसरा बाघ, महिला को किया घायल

उसी सुबह करीब 6 बजे Sahjaniya Village में एक अन्य महिला मीना देवी पर बाघ ने हमला कर दिया। खेत की ओर जाते समय गन्ने के खेत से निकले बाघ ने उन्हें दबोच लिया और लगभग 20 मीटर तक खींचते हुए ले गया। ग्रामीणों की चिल्लाहट पर बाघ भाग गया, लेकिन मीना की पीठ पर गंभीर घाव हो गया है। फिलहाल वे अस्पताल में भर्ती हैं।

 बाघों का वीडियो वायरल, ग्रामीणों में दहशत

Villagers Record Tiger Video: सहजनिया और अनवरगंज गांवों के ग्रामीणों ने खेतों और सड़कों पर घूमते बाघों का वीडियो भी बनाया है। ग्रामीणों का दावा है कि इलाके में दो बाघ सक्रिय हैं। ऐसे में Forest Department की कार्रवाई पर गंभीर सवाल उठ रहे हैं।

नहीं काम आ रहे हाथी और Thermal Drone

बाघ की लोकेशन जानने के लिए वन विभाग ने Elephant Patrol और Thermal Drone Surveillance का इस्तेमाल शुरू किया, लेकिन अब तक सफलता नहीं मिली है। बाघ लगातार लोकेशन बदलकर वन विभाग को चकमा दे रहा है। Monday को फुलहर गांव में एक और ग्रामीण दयाराम की जान बाघ ने ले ली थी।

 प्रशासन अलर्ट, लेकिन सुरक्षा इंतजाम फेल

घटना की सूचना मिलते ही DM Gyanendra Singh और SP Abhishek Yadav भारी फोर्स के साथ मौके पर पहुंचे। वहीं वन विभाग की टीमें भी तैनात हैं। बाघ की तलाश के लिए क्षेत्र में Traps भी लगाए गए हैं। फिर भी गुरुवार सुबह बाघ ने हमला कर सुरक्षा इंतजामों की पोल खोल दी है।

 ग्रामीणों में आक्रोश, की वन विभाग की निंदा

लगातार हो रहे बाघ हमलों से ग्रामीण Forest Department की लापरवाही पर नाराज हैं। गांवों में दहशत इस कदर है कि लोग घरों में बंद हो गए हैं। ग्रामीणों की मांग है कि बाघों की लगातार बढ़ती हलचल को देखते हुए Permanent Security Measures लिए जाएं।