Terrorists को बचाने की पाकिस्तानी चाल, लेकिन Indian Agencies का Deadly Trap तैयार

Kashmir में Pahalgam Attack के बाद Indian Intelligence Agencies ने सुरक्षा अभियान तेज़ कर दिया है। Security Forces का मानना है कि आतंकी अभी भी पहलगाम से 30 किलोमीटर के दायरे में ही छिपे हुए हैं।

पाक की कोशिश: आतंकी को निकालने की साजिश

सूत्रों के मुताबिक, Pakistan-based handlers आतंकियों को सुरक्षित बाहर निकालने के लिए local collaborators से संपर्क कर रहे हैं। लेकिन Agencies को अंदेशा है कि आतंकियों के पास सीमित ration बचा है और आने वाले दिनों में food shortage के चलते वे बाहर निकलने पर मजबूर हो सकते हैं।

Agencies का Mission: जिंदा पकड़ना

सुरक्षा एजेंसियों की पहली प्राथमिकता आतंकियों को alive capture करना है, जिससे पाकिस्तान की सच्चाई दुनिया के सामने लाई जा सके। ठीक वैसे ही जैसे 26/11 Mumbai Attacks के दौरान Ajmal Kasab की गिरफ्तारी ने पाकिस्तान को expose किया था।

Intelligence Input: Israel और विदेशी विशेषज्ञ भी जुड़े

Sources के अनुसार, इस ऑपरेशन में Israeli Intelligence Agencies की मदद भी ली जा रही है। साथ ही, जिन satellite phones का use हमले में किया गया, उनके data की जांच के लिए विदेशी tech experts को शामिल किया गया है।

ISI का हाथ, Lashkar का प्लान

Evidence इकट्ठा करने के बाद सुरक्षा एजेंसियों को पूरा भरोसा है कि यह हमला Lashkar-e-Taiba द्वारा Pakistani Spy Agency ISI के निर्देश पर ही अंजाम दिया गया था।

गुफाएं बनीं आतंकियों का Shield

Indian Agencies को शक है कि Anantnag के dense forests और natural caves आतंकियों के छिपने की जगह हैं। यही वजह है कि आतंकियों ने पहले से 15-20 दिन का ration store कर रखा होगा।

Phone Tracking: 20 अप्रैल से मोबाइल डेटा की जांच

Pahalgam, Baisaran और आसपास के इलाकों में 20 अप्रैल से एक्टिव रहे सभी mobile phones के CDR और location data को खंगाला जा रहा है ताकि कोई lead मिल सके।

Secret Ops: पूरी confidentiality में चल रही रणनीति

सभी operations पूरी तरह से classified और high confidentiality में चलाए जा रहे हैं। Agencies जल्द ही exact location trace कर targeted action लेने को तैयार हैं। सूत्रों के अनुसार, Hashim Musa की गिरफ्तारी पाकिस्तान को global level पर पूरी तरह बेनकाब कर सकती है।