Pahalgam Attack के बाद पुलवामा में गूंजे धमाके, 3 आतंकी घर जमींदोज

 Pahalgam Attack के बाद भारतीय सेना ने आतंकियों पर सख्त कार्रवाई शुरू कर दी है। हाल ही में संदिग्ध आतंकियों के तीन और घरों को ध्वस्त किया गया है। ये घर पुलवामा, शोपियां और कुलगाम जिलों में स्थित बताए जा रहे हैं। इससे पहले शुक्रवार को भी पहलगाम हमले के मुख्य संदिग्ध आदिल हुसैन थोकर और आसिफ शेख के घरों को IED Blast के जरिए उड़ा दिया गया था।

शोपियां में लश्कर कमांडर शाहिद का घर जमींदोज

पहली कार्रवाई शोपियां जिले के Chotipora गांव में हुई, जहां सक्रिय लश्कर-ए-तैयबा (LeT) कमांडर शाहिद अहमद कुट्टे का घर पूरी तरह से ध्वस्त कर दिया गया। सूत्रों के मुताबिक, शाहिद पिछले 3-4 सालों से आतंकवादी गतिविधियों में सक्रिय था और कई National Security Cases में वांछित था।

कुलगाम में जाहिद अहमद के ठिकाने पर कार्रवाई

दूसरी बड़ी कार्रवाई कुलगाम जिले के Matluhama इलाके में हुई। यहां सक्रिय आतंकी जाहिद अहमद का घर रातोंरात उड़ा दिया गया। सुरक्षा एजेंसियों के अनुसार, जाहिद के खिलाफ पहले से कई गंभीर मामले दर्ज थे और वह लंबे समय से एजेंसियों के रडार पर था।

पुलवामा में अहसान उल हक का घर उड़ाया गया

Pulwama district के Murran इलाके में तीसरे आतंकी अहसान उल हक के घर को IED Blast से उड़ा दिया गया। रिपोर्ट्स के अनुसार, अहसान ने 2018 में पाकिस्तान में आतंकवादी ट्रेनिंग ली थी और हाल ही के Pahalgam Attack में उसकी संदिग्ध भूमिका बताई जा रही है।

Pahalgam Attack: 22 अप्रैल को हुए हमले में गई थी 26 लोगों की जान

22 अप्रैल को पहलगाम में हुए इस आतंकी हमले (Pahalgam Terror Attack) में 26 निर्दोष लोगों की मौत हुई थी। प्रारंभिक जांच में पता चला है कि हमले को 5 से 7 आतंकियों ने अंजाम दिया था। इन आतंकियों को पाकिस्तान में प्रशिक्षित दो स्थानीय आतंकियों से भी मदद मिली थी।

IED Blast से आदिल और आसिफ के घर तबाह

शुक्रवार को, पहलगाम हमले के मुख्य संदिग्ध आदिल हुसैन थोकर और आसिफ शेख के घरों की तलाशी के दौरान भारी मात्रा में विस्फोटक सामग्री (IEDs) बरामद हुई। तलाशी के दौरान ही अचानक विस्फोट हो गया, जिससे दोनों के घर पूरी तरह नष्ट हो गए। अधिकारियों ने बताया कि विस्फोट से पहले वहां मौजूद सभी स्थानीय नागरिकों को सुरक्षित निकाल लिया गया था।

आतंकी नेटवर्क पर Indian Army का बड़ा वार

यह सिलसिला केवल मकानों को उड़ाने का नहीं है, बल्कि पूरे आतंकवादी नेटवर्क (Terror Network) को जड़ से खत्म करने की एक व्यापक रणनीति का हिस्सा है। लगातार हो रही ये कार्रवाइयां साफ इशारा कर रही हैं कि कश्मीर घाटी में अब आतंक के खिलाफ Zero Tolerance Policy पर अमल हो रहा है।

परिवारों का बचाव, लेकिन एजेंसियां सतर्क

जहां एक ओर आतंकियों के परिवार वाले इस बात से इनकार कर रहे हैं कि उन्हें किसी भी आतंकी गतिविधि की जानकारी थी, वहीं सुरक्षा एजेंसियां अपने पुख्ता सबूतों के साथ लगातार कार्रवाई कर रही हैं।